किस्मत और दिल की आपस में कभी नहीं बनती, क्यूंकि जो दिल में होता है वो कभी किस्मत में नहीं होता है.
मैं उसे सच्ची मुहब्बत करने लगा उसके हाँ के इतजार में जीने लगा
किस से आगाज़ करे हम और किसको हम अंजाम कहे सब कुछ लूट लिया इस चाहत ने हमारा भला कैसे, अब हम इसको दिल-ऐ-अरमान कहे........
तेरी आँखों में सच्चाई की एक राह दिखाई देती है, तू है मोहब्बत का दीवाना ऐसी चाह दिखाई देती है, माना कि ठोकर खाई है जमाने में बेवफाओं से, पर तू आशिक है तुझमें मोहब्बत की चाह दिखाई देती है।
तुमसे मिलकर महीनों के हिसाब पूछेंगे, तेरे कंधे पे सर रखकर हम रोते-रोते भी हँस देंगे।